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RBI के डिप्टी गवर्नर मुंद्रा ने कहा, डिजिटल बैंकिंग नहीं अपनाया तो इतिहास बन जाएंगे बैंक

मुंद्रा ने कहा, 'पारंपरिक बैंकों को जल्दी से नए जमाने की डिजिटल बैंकिंग में बदलना होगा, जिससे की वे इतिहास का हिस्सा ना बन जाएं।'

Updated on: 21 Feb 2017, 01:36 PM

नई दिल्ली:

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के डेप्युटी गवर्नर एस एस मुंद्रा ने सोमवार को कहा कि पारंपरिक बैंकों को नए जमाने के डिजिटल बैंक के रूप में बदलने की जरूरत है जिससे कि वे परिचालन जारी रख सकें।

मुंद्रा ने कहा कि वित्तीय प्रौद्योगिकी (फिनटेक) से जुड़े लोन मुहैया करानेवाली कंपनियां सूक्ष्म, छोटे और मझोले उद्योगों (एमएसएमई) के वैकल्पिक स्रोत के रूप में तेजी से उभर रही है।

मुंद्रा ने कहा, "अब फिनटेक का जमाना है। पारंपरिक बैंकों को जल्दी से नए जमाने की डिजिटल बैंकिंग में बदलना होगा, जिससे की वे इतिहास का हिस्सा ना बन जाएं।"

मुंद्रा ने कॉलेज ऑफ एग्रीकल्चर बैंकिंग द्वारा आयोजित एनएएमसीएबीएस (नेशनल मिशन फॉर कैपिसिटी बिल्डिंग ऑफ बैंकर्स फॉर फाइनेंसिंग एमएसएमई सेक्टर) सम्मेलन के उद्घाटन भाषण के दौरान इन बातों को कहा।

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मुंद्रा ने कहा, "फिनटेक वित्तीय कंपनियां छोटे व्यापारियों के लिए वित्त के वैकल्पिक स्रोत के रूप में उभरी है।" उन्होंने कहा कि बैंकों को फिनटेक पारिस्थितिकी तंत्र को एक अवसर के रूप में देखना चाहिए न कि किसी खतरे की तरह।

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