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बिहार में बाढ़ अबतक छीन चुकी है 304 जिंदगियां, पीएम मोदी करेंगे राज्य का दौरा

बिहार में बाढ़ विकराल रूप धारण करता जा रहा है। सीमांचल सहित राज्य के 18 जिले इस प्राकृतिक आपदा से बुरी तरह प्रभावित हैं।

Updated on: 22 Aug 2017, 03:17 AM

highlights

  • बिहार में बाढ़ से हालात बदतर, अबतक 304 लोगों की मौत
  • पीएम मोदी बिहार के बाढ़ प्रभावित इलाकों का करेंगे दौरा

नई दिल्ली:

बिहार में बाढ़ विकराल रूप धारण करता जा रहा है। सीमांचल सहित राज्य के 18 जिले इस प्राकृतिक आपदा से बुरी तरह प्रभावित हैं। बिहार में बाढ़ की वजह से अबतक 304 लोगों की जान जा चुकी है।

बाढ़ की भयावहता को देखने के लिए पीएम मोदी भी बिहार जाएंगे और बुरी तरह प्रभावित इलाकों में हुए नुकसान का जायजा लेंगे। हालांकि अभी उनके जाने की तारीख तय नहीं है। संभव है कि पीएम हवाई दौरे के बाद बिहार के लिए राहत पैकेज का भी ऐलान कर दें।

दूसरी तरफ राज्य के सीएम नीतीश कुमार ने बाढ़ से उपजे हालात को लेकर उच्च अधिकारियों के साथ बैठक की और राहत-बचाव कार्य में और तेजी लाने का आदेश दिया।

बिहार में बाढ़ से हालात इतने बदतर हो चले हैं कि सिर्फ पिछले 24 घंटे में 50 से ज्यादा लोगों की जान गई है। राज्य में बाढ़ की वजह से मरने वाला का आंकड़ा 300 के पार पहुंच चुका है।

बाढ़ की वजह से सीमांचल के अररिया में सबसे ज्यादा 71 लोगों की मौत हो चुकी है जबकि कटिहार में 26, किशनगंज में 11, सुपौल और मधेपुरा में 13-13 जबकि पूर्णियां में 9 लोगों की जान जा चुकी है। वहीं सीतमढ़ी में 31, पश्चिमी चंपारण में 29, पूर्वी चंपारण में 19, दरभंगा में 19, मधुबनी में 22 और शिवहर में 4 लोग बाढ़ की वजह से काल के गाल में समा चुके हैं।

अधिकारियों का कहना है, 'बाढ़ प्रभावित इलाकों में पानी से घिरे 7.34 लाख से ज्यादा लोगों को निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। इसके अलावा इन क्षेत्रों में 1,346 राहत शिविर खोले गए हैं, जिसमें करीब 4.22 लाख से ज्यादा लोग शरण लिए हुए हैं। 1,879 सामुदायिक रसोई खोली गई है, जिसमें लोगों को लंगर की तरह खाना खिलाया जा रहा है।'

आपदा प्रबंधन विभाग के एक अधिकारी ने बताया, 'प्रभावित जिलों में लगातार सेना, राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन बल (एनडीआरएफ) और राज्य आपदा प्रबंधन बल (एसडीआरएफ) की टीम लगी हुई है। इन 18 जिलों में एनडीआरएफ की 28 टीम के 1,152 जवान अपनी 118 नौकाओं और एसडीआरएफ की 16 टीम के 446 जवान अपनी 92 नौकाओं तथा सेना के 630 जवान एवं 70 नौकाओं के साथ राहत एवं बचाव कार्य में लगी हुई हैं।'

एनडीआरएफ और एसडीआरएफ की टीम के साथ चिकित्सकों का चलंत दस्ता भी प्रभावित इलाकों में लगा हुआ है। इसके अलावा कई सरकारी और निजी नावों को भी राहत और बचाव कार्य में लगाया गया है।