Asian Games 2018: नीरज चोपड़ा ने जेवेलिन थ्रो में जीता गोल्ड, भारत को मिला 8वां स्वर्ण पदक
भारत के ध्वजावाहक रहे नीरज चोपड़ा ने उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन करते हुए सोमवार को 18वें एशियाई खेलों में पुरुषों की भाला फेंक स्पर्धा में स्वर्ण पदक अपने नाम किया।
नई दिल्ली:
भारत के ध्वजावाहक रहे नीरज चोपड़ा ने उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन करते हुए सोमवार को 18वें एशियाई खेलों के नौवें दिन में पुरुषों की भाला फेंक स्पर्धा में स्वर्ण पदक अपने नाम किया। नीरज ने अपनी सर्वश्रेष्ठ थ्रो 88.06 मीटर की फेंकी और स्वर्ण पदक पर कब्जा जमाया। नीरज ने यह सोने का तमगा पांच में से दो प्रयासों में विफलता के बाद भी हासिल किया। यह भारत का नौवें दिन का पहला स्वर्ण पदक है।
रजत पदक जीतने वाले चीन के किझेन लियू 82.22 मीटर की थ्रो फेंक कर दूसरे स्थान पर तो वहीं पाकिस्तान के नदीम अरशद ने 80.75 की सर्वश्रेष्ठ थ्रो फेंक कांस्य पदक हासिल किया। नीरज ने अपने पहले प्रयास में 83.46 मीटर की थ्रो फेंकी। वहीं उनका दूसरा प्रयास फाउल हो गया। तीसरे प्रयास में उन्होंने 88.06 मीटर की थ्रो फेंक अपना स्वर्ण पक्क कर लिया था और हुआ भी यही। उनकी इस थ्रो के बाद कोई भी खिलाड़ी उनके आस-पास नहीं भटक सका।
चौथे प्रयास में नीरज ने 83.25 मीटर की दूरी मापी। उनका आखिरी प्रयास भी फाउल रहा लेकिन इससे नीरज के स्वर्ण पदक पर कोई असर नहीं पड़ा। नीरज मिल्खा सिंह के बाद दूसरे ऐसे एथलीट है जिन्होंने एक ही साल में कॉमनवेल्थ और एशियन गेम्स में गोल्ड मेडल जीता हो। भारत अब तक इस टूर्नामेंट में 41 मेडल जीत चुका है। जिनमें 8 गोल्ड, 13 सिल्वर और 20 कांस्य पदक जीत चुका है।
सुधा सिंह ने 3000 मीटर स्टीपलचेज में जीता रजत
भारत की महिला धावक सुधा सिंह ने यहां जारी 18वें एशियाई खेलों के नौवें दिन सोमवार को महिलाओं की 3000 मीटर स्टीपलचेज स्पर्धा के फाइनल में रजत पदक पर कब्जा जमाया। सुधा ने नौ मिनट 40.03 सेंकेंड में दूरी तय करते हुए दूसरा स्थान हासिल किया। यह भारत का दिन का तीसरा पदक और दूसरा रजत है।
2010 की एशियाई खेलों में स्वर्ण जीतने वाली सुधा एक समय स्वर्ण पदक की दौड़ में थी लेकिन बहरीन की विनफ्रेड यावी ने आखिरी समय में सुधा को पीछे छोड़ दिया। विनफ्रेड ने नौ मिनट 36.52 सेकेंड का समय निकालते हुए स्वर्ण पदक जीता।
सुधा ने एशियाई चैम्पियनशिप-2017 में स्वर्ण जीता था। इससे पहले वह 2013 में भी एशियाई चैम्पियनशिप में स्वर्ण जीता था। इंचियोन में 2014 में खेले गए एशियाई खेलों में इससे बेहतर नौ मिनट 35.64 सेकेंड का समय निकाला था लेकिन फिर भी चौथे स्थान पर रही थीं।
कांस्य पदक पर वियतनाम की थि ओन्ह गुयेन ने नौ मिनट 43.83 सेकेंड का समय निकला। भारत की एक और धावक चिंता 11वें स्थान पर रहीं। उन्होंने 10 मिनट 26.21 सेकेंड का समय निकाला।
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